Bihar : 53वीं सीनियर महिला नेशनल हैंडबॉल चैंपियनशिप का समापन, पंजाब ने जीता खिताब, दिल्ली बनी उपविजेता

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 53rd Senior Womens National Handball Championship concludes  53rd Senior Womens National Handball Championship concludes

PURNIA : 53वीं सीनियर महिला नेशनल हैंडबॉल चैंपियनशिप का फाइनल मुकाबला गुरुवार को पूर्णिया के परोरा स्थित रमेश विजयलक्ष्मी मेमोरियल स्टेडियम में पंजाब और दिल्ली की टीमों के बीच खेला गया। रोमांचक मुकाबले में पंजाब ने दिल्ली को 40-25 के बड़े अंतर से हराकर चैंपियनशिप ट्रॉफी पर कब्जा जमाया, जबकि दिल्ली उपविजेता रही।

सेमीफाइनल मुकाबलों में बिहार और हरियाणा की टीमें कड़े संघर्ष के बाद फाइनल में पहुंचने से चूक गईं। बिहार को दिल्ली ने 29-24 के स्कोर पर हराया, जबकि हरियाणा को पंजाब ने हराया। दोनों टीमों को संयुक्त रूप से तृतीय स्थान की ट्रॉफी और कांस्य पदक से संतोष करना पड़ा। बिहार की बेटियों ने अपने ऐतिहासिक प्रदर्शन से राज्य को कांस्य पदक दिलाकर प्रदेश का गौरव बढ़ाया।

समापन समारोह और पुरस्कार वितरण

पांच दिवसीय चैंपियनशिप के समापन सह पुरस्कार वितरण समारोह में बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद, पूर्णिया के सांसद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव, हैंडबॉल फेडरेशन ऑफ इंडिया के अध्यक्ष एवं पूर्व सांसद प्रदीप बालमुचू, और महासचिव प्रीतपाल सिंह सलूजा मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहे।

विजेता और उपविजेता टीमों को ट्रॉफी और पदक प्रदान कर अतिथियों ने खिलाड़ियों को सम्मानित किया। आगत अतिथियों का स्वागत एवं आयोजन की रूपरेखा विद्यालय के सचिव सह आयोजन सचिव राजेश मिश्रा ने प्रस्तुत की। समारोह का संचालन बिहार हैंडबॉल संघ के महासचिव ब्रजकिशोर शर्मा ने किया।

मुख्य अतिथियों के प्रेरक उद्बोधन

समापन समारोह में सांसद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव ने कहा कि "खेल समाज को जोड़ने और युवाओं को अनुशासन, समर्पण और आत्मविश्वास सिखाने का सशक्त माध्यम है। बिहार की बेटियों ने अपने प्रदर्शन से दिखा दिया है कि वे किसी से पीछे नहीं हैं। हमें खेल के प्रति अपनी सोच बदलने की जरूरत है। यह न केवल मनोरंजन का साधन है, बल्कि रोजगार और पहचान का भी माध्यम बन चुका है। राज्य सरकार और समाज को मिलकर खिलाड़ियों के लिए बेहतर संसाधन और सुविधाएं उपलब्ध करानी होंगी।"

उन्होंने खिलाड़ियों के हौसले की सराहना करते हुए हरसंभव सहायता का आश्वासन दिया और कहा कि बेटियों के इस प्रदर्शन से बिहार का नाम राष्ट्रीय स्तर पर ऊंचा हुआ है।

पूर्व उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद ने अपने संबोधन में कहा कि "पूर्णिया की धरती पर राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता का आयोजन होना हम सभी के लिए गर्व की बात है। बिहार की बेटियों ने अपने शानदार प्रदर्शन से यह साबित कर दिया है कि प्रतिभा की हमारे राज्य में कोई कमी नहीं है। हमें अपने खिलाड़ियों को अंतरराष्ट्रीय स्तर की ट्रेनिंग और सुविधाएं प्रदान करनी चाहिए।"

उन्होंने आगे कह कि "खेल व्यक्ति के सर्वांगीण विकास का माध्यम है। यह न केवल शारीरिक स्वास्थ्य को मजबूत करता है, बल्कि आत्मविश्वास और मानसिक शक्ति भी बढ़ाता है। मैं सभी खिलाड़ियों को बधाई देता हूं और उन्हें भविष्य के लिए शुभकामनाएं देता हूं।"

विशिष्ट अतिथि एवं सम्मानित हस्तियां

इस अवसर पर हैंडबॉल फेडरेशन ऑफ इंडिया के मुख्य प्रशिक्षक शिवाजी सर, टेक्निकल कमिटी के चेयरमैन रमाशंकर शर्मा, कार्यालय प्रभारी महेश हुड्डा, बिहार हैंडबॉल के कोषाध्यक्ष त्रिपुरारी प्रसाद, विद्यालय के निदेशक रंजीत कुमार पाल, ट्रस्टी पल्लवी मिश्रा, पीआरओ राहुल शांडिल्य, डॉ. पीसी झा, पूर्णिया जिला हैंडबॉल सचिव अजीत कुमार, जिला फुटबॉल संघ के अध्यक्ष डॉ. मुकेश, और अन्य गणमान्य लोग उपस्थित रहे। सभी अतिथियों एवं तकनीकी पदाधिकारियों को आयोजन समिति द्वारा मोमेंटो देकर सम्मानित किया गया।

खेल, सामाजिक और आर्थिक विकास का सशक्त माध्यम

अतिथियों ने अपने संदेश में कहा कि खेल आज के समय में रोजगार का एक मजबूत माध्यम बन गया है। यह न केवल स्वस्थ जीवन शैली को बढ़ावा देता है, बल्कि समृद्ध समाज और देश के निर्माण में भी अहम भूमिका निभाता है। उन्होंने बिहार की बेटियों की उपलब्धि को प्रदेश के लिए गौरवपूर्ण क्षण बताया और उनकी प्रशंसा की। समारोह का सफल आयोजन खिलाड़ियों की मेहनत, आयोजन समिति की समर्पित तैयारी और अतिथियों के प्रोत्साहन का परिणाम था।