झारखंड कांग्रेस का नियम कागजों तक सीमित : नए जिला अध्यक्ष की नियुक्ति में कई लोगों ने नहीं किया था आवेदन, कई तो सदस्य नहीं होने पर भी बने अध्यक्ष
रांची : कांग्रेस2025को संगठन सृजन का वर्ष घोषित कर चुकी है. साल खत्म होने में कुछ महीने शेष बचे हैं. इस दौरान संगठन सृजित होने शुरू भी हो गए हैं लेकिन पार्टी की ओर से जारी नियम-कानून सिर्फ कागजों पर सीमित होते दिखाई दे रहे हैं. बीते दिन झारखंड कांग्रेस के नवनियुक्त25जिला अध्यक्ष की सूची जारी की गई है. इस सूची में कई ऐसे नाम शामिल हैं जिसने कांग्रेस का जिला अध्यक्ष बनने की इच्छा तक जाहिर नहीं की थी. बात यही तक नहीं रुकी कई ऐसे जिला अध्यक्ष भी नियुक्त किए गए हैं जो पार्टी के सदस्य तक नहीं है. आखिर पार्टी ने फिर क्यों जिला अध्यक्ष की नियुक्ति के लिए पर्यवेक्षक नियुक्त किया था.
तीन ऐसे व्यक्ति जिन्होंने नहीं किया था आवेदन
पार्टी के नवनियुक्त जिला अध्यक्षों की सूची में तीन ऐसे नाम शामिल हैं जिन्होंने अध्यक्ष के लिए आवेदन भी नहीं किया था लेकिन पार्टी ने सीधे अध्यक्ष बना दिया. इसमें रामगढ़ विधायक ममता देवी,सिमडेगा के भूषण बारा और मांडू के पूर्व विधायक जयप्रकाश पटेल को जिला का जिम्मा सौंपा गया है जबकि इन तीनों ने अध्यक्ष बनने की इच्छा आलाकमान के समक्ष नहीं दिखाई थी.लेकिन फिर भी इन्हें जिला में संगठन मजबूत करने का दायित्व सौंप दिया गया है.
पार्टी के सदस्य नहीं,फिर भी अध्यक्ष का जिम्मा
पार्टी ने उन लोगों को जिला अध्यक्ष बनाया जिन्होंने आवेदन नहीं किया था. यह इसलिए समझ आता है कि ममता देवी,भूषण बारा वर्तमान पार्टी के विधायक हैं और हजारीबाग के नवनियुक्त जिला अध्यक्ष जयप्रकाश पटेल पूर्व विधायक और पार्टी के टिकट पर चुनाव भी लड़ चुके हैं. लेकिन तीन ऐसे नवनियुक्त जिला अध्यक्ष बनाए गए जो पार्टी के प्राथमिक सदस्य तक नहीं है. जिसमें देवघर जिला के नवनियुक्त अध्यक्ष मुकुंद दास,लातेहार जिला के नवनियुक्त अध्यक्ष कामेश्वर यादव और चतरा जिला के नवनियुक्त अध्यक्ष चंद्रदेव गोप कानामशामिलहै.
रांची से राहुल कुमार की रिपोर्ट--