‘युद्ध’ से पहले शिक्षक संघो में दो फाड़ : कोई जलाएगा एडमिट कार्ड तो कोई के के पाठक के समर्थन में खड़ा

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Tears in teacher unions before 'war'  Some will burn the admit card and some will stand in support of KK Pathak Tears in teacher unions before 'war'  Some will burn the admit card and some will stand in support of KK Pathak

पटना : बिहार के नियोजित शिक्षको की एकजुटता ने सरकार को कई बार उनकी मांगे मानने को मजबूर किया, आंदोलनो का परिणाम था कि उनके वेतन में समय समय पर बढ़ोत्तरी हुई, और उनके राज्यकर्मी का दर्जा प्राप्त करने का रास्ता बना, लेकिन अब शिक्षकों की एकजुटता में दरार आ गया है।

वर्षों से जिस आस में सड़को पर आंदोलन किया, पुलिस की लाठियां खाई, आंसू गैस के गोले झेले अब जब वो मांग एक नाम मात्र की परीक्षा पास कर पूरी होने की आस बंधी तो बिहार शिक्षक एकता मंच ने सभी जिलो में अपने साथ जुड़े नियोजित शिक्षकों से एडमिट कार्ड जलाकर सक्षमता परीक्षा का विरोध करने का ऐलान करते हुए परीक्षा में शामिल नहीं होने की अपील की है। इसके साथ ही 28 फरवरी को अपने अपने क्षेत्र में विधायकों के आवास घेराव का भी निर्णय लिया गया है।

इधर नियोजित शिक्षकों से जुड़े संघ टीइटी शिक्षक संघ के प्रदेश अध्यक्ष अमित विक्रम ने सभी नियोजित शिक्षकों से परीक्षा में बैठने की अपील की है। उनका कहना है कि शिक्षा मंत्री विजय चौधरी ने सदन में आश्वासन दिया है ऐसे में विरोध का कोई मतलब नहीं है। अब इसमें राजनीति उद्देश्य नीहित है, या नियोजित शिक्षकों का हित ये तो परीक्षा का समर्थन और विरोध करने वाले जाने लेकिन इतना तय है कि हाल ही में जिस तरह से शिक्षा विभाग ने विरोध करने वाले शिक्षकों पर गाज गिराई है और उन्हें सक्षमता परीक्षा में बैठने से अयोग्य घोषित करने का फरमान जारी कर दिया है, अब संघो में एकमत नहीं होने से टकराव की स्थिति बनेगी तो साथ ही शिक्षा विभाग भी कार्रवाई को लेकर तत्पर दिखेगा।

दीपक कुमार की रिपोर्ट


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