DC से माइंस चालू कराने की मांग : कठौतिया कोल माइंस में खनन कार्य बंद रहने से सैकड़ों लोगों के समक्ष भुखमरी की स्थिति
पलामू:एक तरफ़ झारखंड सरकार राज्य में औद्योगिक विकास के लिए प्रयास कर रही है. वहीं दूसरी तरफ़ पलामू में काम कर रही प्रमुख औद्योगिक कंपनी हिन्डालको इंडस्ट्रीज लिमिटेड के कठौतिया कोल माइंस में पिछले आठ दिनों से कोयला खनन का कार्य बंद है. माइंस में खनन कार्य बंद रहने से कठौतिया कोल माइंस से प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष रूप से लगभग पांच हजार लोगों के रोजगार पर संकट उत्पन्न हो गया है. खनन कार्य बंद होने से श्रमिक काफी परेशान हैं.
दरअसल 23 जनवरी को संदेहास्पद स्थिति में सिक्का के एक युवक की मौत माइंस के पास हो गयी थी. घटना के बाद मृतक के परिजनों व कुछ राजनीतिक दल के लोगों ने आरोप लगाया था कि माइंस में ब्लास्टिंग के दौरान सुरक्षा मानकों का पालन नहीं किया गया जिसके कारण युवक की मौत हो गई. ग्रामीणों द्वारा माइंस में चल रहे कई वाहनों को क्षतिग्रस्त कर दिया गया, साथ ही खदान में कार्यरत कर्मचारियों एवं सुरक्षा कर्मियों के साथ मारपीट भी की गई थी. उस दिन के बाद से माइंस की ओर जा रहे कर्मचारियों और अधिकारियों को जान से मारने की कोशिश की जा रही है. उपद्रवियों ने माइंस के जमीन पर लाल झंडा लगा दिया.
मालूम हो कि पलामू में अभी एक मात्र औद्योगिक प्रतिष्ठान के नाम पर कठौतिया माइंस ही है. जहां प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष रूप से पांच हजार से अधिक लोगों का रोजगार चलता है. लेकिन माइंस में खनन कार्य बंद रहने से कुछ लोगों के सामने भुखमरी की स्थिति है. माइंस में तत्काल खनन कार्य शुरू नहीं हुआ तो सैकड़ों लोगों के समक्ष रोजगार संकट उत्पन्न हो जायेगा. इस मामले को लेकर श्रमिक संगठनों ने डीसी से मुलाकात कर माइंस को चालू कराने में मदद करने की मांग की है.