अस्पताल में पांच दिन आंखें हुईं चार : हारा दिल...सात जन्मों तक साथ निभाने की खायी कसम, पढ़िए लव स्टोरी

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हाजीपुर : वो तो अस्पताल आयी थी अपनी मां का इलाज कराने, अपनी मां को दोबारा सकुशल घर ले जाने। लेकिन यहां तो किस्मत को कुछ और ही मंजूर था। इस अस्पताल में काम कर रहा एक कर्मी तो इसकी खूबसूरती पर कुर्बान हो गया। इलाज के दौरान ही उस अस्पतालकर्मी पर इस लड़की का जादू ऐसा चला कि उसने तो महज पांच दिनों में ही लड़की के साथ जीने और मरने की कसमें खा ली। जैसा कि अमूमन इश्क का नशा चढ़ने पर होता है इस कर्मी के साथ भी ऐसा हुआ ।

लड़की की मां की भरपूर सेवा

लड़की के प्यार में पागल अस्पतालकर्मी उसका भरोसा जीतने के लिए उसकी बीमार मां की कुछ ज्यादा ही सेवा करने लगा। अस्पतालकर्मी के इस व्यवहार से पहले तो लड़की भी हैरान हो गयी लेकिन उसे यह पता नहीं था कि इस सेवा के बदले लड़का उसका ही हाथ मांग लेगा। दरअसल लड़की की मां की इस सेवा के पीछे तो लड़के का मकसद कुछ और था। असली मकसद तो लड़की की मां को मनाना था। बस क्या था पांच दिनों की ही सेवा में लड़की ने भी अपना दिल हार दिया और चुपके चुपके कर्मी से प्यार करने लगी। लड़की की रजामंदी के बाद अस्पतालकर्मी ने इस बात की चर्चा लड़की की मां से की और कहा कि वो उनकी लड़की से शादी करना चाहता है।

प्रोपोजल सुनकर हैरान हो गई मां

अस्पतालकर्मी की बातें सुन चकराई मां को तो पहले कुछ सूझा ही नहीं लेकिन उसने लड़के को यह भरोसा जरुर दिया कि वो इस मामले में अपनी बेटी से बात करेगी। जैसे जैसे मां की सेहत बदली मां ने बेटी से इस संबंध के बारे में पूछ। लड़की तो मानो तैयार ही थी मां के पूछने के साथ ही उसने अपनी हामी भर दी ।और अस्पताल में इलाज के बहाने महज पांच दिनों का प्यार परवान चढ़ गया। दोनों तरफ से इस रिश्ते पर मुहर लगने के बाद रीति रिवाज से लड़की और अस्पतालकर्मी की शादी हुई।

शादी से परिवार में खुशी

संबंध से खुश लड़के ने अपनी ही शादी में जमकर डांस किया। उधर शादी से बेहद खुश लड़की ने भी अपने परिवार के साथ मिलकर अपने मनचाहे प्यार को पाया। आज सब खुश हैं। लड़का खुश है कि उसने अपने प्यार को पाया। लड़की खुश इसलिए है कि उसने भी तो अपने प्यार को पाया और बिना किसी झंझट के उसे मनचाहा दूल्हा मिल गया। लड़की का परिवारवाला खुश इसलिए है कि बिना किसी परेशानी के उसे अच्छा दामाद मिल गया।