भाकपा माओवादी के सब जोनल कमांडर ने किया सरेंडर : साथियों से की मुख्यधारा में जुड़ने की अपील, IED प्लांट करने में था एक्सपर्ट
गया : खबर है गया से जहां भाकपा माओवादी सब जोनल कमांडर लक्ष्मी पासवान ने सशस्त्र सीमा बल और बिहार पुलिस के समक्ष एक समारोह के दौरान ही आत्मसमर्पण कर दिया है। वह जिले के लुटुआ थाना क्षेत्र के कोठिलवा गांव का रहने वाला था। आत्मसमर्पण के दौरान उसने बताया कि अब नक्सली नेता बदलााव और न्याय के नाम धन की उगाही करते हैं। साथ ही उसने बड़ा खुलासा करते हुए बताया कि नक्सली संगठन इस काम के लिए अपने कैडर का शोषण भी करते हैं।
सब जोनल कमांडर ने आगे बताया कि नक्सली नेता उगाही से बड़ी-बड़ी गाड़ियां व बड़े शहरों में मकान खड़ा कर रखा है और यहां कैडर को दो जून की रोटी भी नसीब नहीं होती है। पूरा संगठन में अब पहले वाली बात नहीं रही। यहां भी जाति घुस गई है।इससे नक्सली संगठनों के कैडर में असंतोष की भावना है। यही वजह है कि हमने पुलिस व एसएसबी के समक्ष आत्मसमर्पण किया है। उसने संगठन के साथियों से भी मुख्य धारा में जुड़ने के लिए अपील की है।
लक्ष्मी कांत पासवान ने बताया कि इसी वर्ष दो जून को शादी हुई। शादी के बाद संगठन में नहीं रहना चाहता था। इस बीच 16 जून को संगठन को छोड़ कर किसी तरह से वहां से भाग गया। भागने के बाद अपने पुराने साथियों से संपर्क किया और छत्तीसगढ़ अपने साथियों के पास पहुंच गया। वहां उनके साथ मजदूरी करने लगा। इस बीच निर्णय लिया कि कब तक भागते रहेंगे।
इसी सोच के साथ समाज की मुख्य धारा में आने फैसला लिया और एसएसबी बीबी पेसरा के सहायक कमांडेंट रामवीर कुमार से संपर्क किया और उनसे मुख्य धारा में आने के लिए आत्मसमर्पण करने की बात कही। इसके बाद जब रामवीर कुमार को विश्वास हो गया कि हम सरेंडर करना चाहते हैं तो उन्होंने अपने वरीय अधिकारियों से बातचीत की। उन अधिकारियों से बातचीत के बाद हमें सुरक्षित व सकुशल तरीके से आत्मसमर्पण कराने का भरोसा दिया गया। इसके बाद हमने आत्मसमर्पण कर दिया। इस मौके एसएसबी के उपमहानिरीक्षक क्षेत्रीय मुख्यालय छेरिंग दोरजे, एसएसपी हरप्रीत कौर के अलावा अन्य अधिकारी मौजूद थे।