नीति आयोग बैठक में नहीं शामिल होंगे नीतीश कुमार : बिहार का यह दुर्भाग्य है बोले- भाजपा विधायक नवीन जायसवाल

रांची: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी27मई को नीति आयोग के संचालन परिषद के आठवीं बैठक की अध्यक्षता करेंगे। इस बैठक में शामिल होंने के लिए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन शुक्रवार को ही दिल्ली रवाना हुए थे। इस बैठक में मुख्य रूप से देश को2047तक विकसित देश बनाने के उद्देश्य से स्वास्थ्य कौशल विकास महिला सशक्तिकरण और बुनियादी ढांचा विकास समेत कई मुद्दों पर चर्चा की जाएगी। बैठक में सभी राज्यों के मुख्यमंत्री केंद्र शासित प्रदेशों के उपराज्यपाल और केंद्रीय मंत्री शामिल होते हैं। बैठक में इस बार विपक्षी दलों के कई मुख्यमंत्री हिस्सा नहीं लेंगे इनमें ममता बनर्जी, भूपेश बघेल, अरविंद केजरीवाल, भगवंत मान व अशोक गहलोत जैसे नेता शामिल है।
यह दुर्भाग्य है बिहार का:नवीन जायसवाल
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नीति आयोग के बैठक में शामिल नहीं होने को लेकर झारखंड भाजपा के विधायक नवीन जायसवाल ने क़हा है कि यह दुर्भाग्य है बिहार का कि नीति आयोग की बैठक में बिहार के मुख्यमंत्री शामिल नहीं हो रहे हैं। राज्य के विकास के लिए देश के विकास के लिए नीति आयोग की बैठक में शामिल होना चाहिए था। झारखंड राज्य में कांग्रेस और जेएमएम की सरकार है फिर भी मुख्यमंत्री नीति आयोग में शामिल हो रहे हैं।बिहार के मुख्यमंत्री अगर शामिल नहीं हो रहे हैं तो उन्हें राज्य के विकास की चिंता नहीं है। यह राज्य का दुर्भाग्य कहा जा सकता है।
राज्य विकास के लिए सरकार हर संभव प्रयास कर रही है:राकेश सिन्हा
वहीं नीतीश कुमार के नीति आयोग की बैठक में शामिल नहीं होने को लेकर झारखंड प्रदेश कांग्रेस के प्रदेश महासचिव राकेश सिन्हा ने कहा कि हमारी सरकार पूरी तरह से संजीदा है और राज्य कैसे आगे विकास के पथ पर बढ़े इसके लिए सरकार हर संभव प्रयास कर रही है, कार्य भी कर रही है। यह पूर्ववर्ती सरकार की तरह नहीं है जो जनता के विकास के पैसे अफसर की झोली भर दी गई लूट खंड का अड्डा पूर्वर्ती सरकार ने राज्य को बना दिया था। हमारी सरकार पूरी मजबूती के साथ एक विकास के सभी मुद्दों को रखेगी ताकि झारखंड का विकास हो सके।
केंद्र सरकार झारखंड के पैसे को दबा कर के बैठी है:डॉ.तनुज खत्री
वहीं झारखंड के सत्तारूढ़ दल झारखंड मुक्ति मोर्चा के तरफ से केंद्रीय प्रवक्ता डॉ.तनुज खत्री ने कहा कि नीति आयोग की बैठक का लाभ तब होगा जब झारखंड के बकाए पैसे केंद्र सरकार रिलीज करेगी। केंद्र सरकार झारखंड के पैसे को दबा कर के बैठी है। जब भी बकाए पैसे की मांग करते हैं तब राज्य सरकार को परेशान करने का काम किया जाता है।