पुलिस पदाधिकारियों पर गिरी गाज : गोपालगंज में 3 पुलिस पदाधिकारी सस्पेंड, गंभीर लापरवाही बरतने के आरोप में SP ने की कार्रवाई
गोपालगंज : बड़ी खबर बिहार के गोपालगंज से है जहां जिले के 3 पुलिस पदाधिकारियों को एक साथ निलंबित कर दिया गया है. इनमें मोहम्मदपुर थाना के थानाध्यक्ष राजाराम कुमार, नगर थाना के केस इन्वेस्टिगेशन ऑफिसर संग्राम सिंह और पुलिस पदाधिकारी लंकेश कुमार पांडा शामिल हैं.
जानकारी के अनुसार इन सभी पदाधिकारियों पर थाना में जब्त किए गए सामान की सुरक्षा और देखभाल में गंभीर लापरवाही बरतने का आरोप है. इसके साथ ही इन पर कार्य के प्रति अनुशासनहीनता जैसे गंभीर आरोप भी लगाए गए हैं. गोपनीय सूत्रों के अनुसार, जांच के दौरान यह पाया गया कि मोहम्मदपुर थाना परिसर में जब्त किए गए सामानों की सही ढंग से न तो सूची तैयार की गई थी और न ही उनका सुरक्षित तरीके से भंडारण किया गया था. वहीं नगर थाना के केस आईओ संग्राम सिंह पर भी महत्वपूर्ण केस में लापरवाही बरतने और साक्ष्यों के रख रखाव में चूक करने के आरोप हैं. लंकेश कुमार पांडा पर भी थाने में अपने दायित्वों के निर्वहन में शिथिलता और विभागीय अनुशासन को नजरअंदाज करने के आरोप साबित हुए हैं. इन सब बातों को गंभीरता से लेते हुए गोपालगंज एसपी स्वर्ण प्रभात ने तत्काल प्रभाव से तीनों पदाधिकारियों को निलंबित करने का आदेश जारी कर दिया है.
एसपी ने स्पष्ट किया है कि पुलिस महकमे में अनुशासन सर्वोपरि है और किसी भी स्थिति में लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी. उन्होंने कहा कि थाने में जब्त सामानों की देखरेख, दस्तावेजी प्रक्रिया और साक्ष्य की सुरक्षा पुलिसिंग का अहम हिस्सा है और इसमें चूक करने वालों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी. इस कार्रवाई के बाद जिले के अन्य थानों में भी हलचल मच गई है. सभी थानाध्यक्षों और केस आईओ को निर्देश दिया गया है कि वे अपने-अपने थानों में जब्त सामान की नियमित जांच करें और उसकी पूरी सूची तैयार करें. साथ ही यह सुनिश्चित करें कि सभी दस्तावेज और केस संबंधित साक्ष्य सुरक्षित और व्यवस्थित तरीके से संग्रहित हों. सूत्रों का यह भी कहना है कि आने वाले दिनों में अन्य थानों में भी निरीक्षण की कार्रवाई की जाएगी और जहां भी लापरवाही या गड़बड़ी पाई जाएगी, वहां पर भी जिम्मेदार पदाधिकारियों पर कार्रवाई तय मानी जा रही है. तीन पुलिस पदाधिकारियों का एक साथ निलंबन यह दर्शाता है कि गोपालगंज पुलिस प्रशासन अब लापरवाही और अनुशासनहीनता के मामलों में किसी प्रकार की ढिलाई नहीं बरतेगा. एसपी की इस सख्त कार्रवाई को एक कड़ा संदेश माना जा रहा है कि पुलिस बल में जवाबदेही और अनुशासन सबसे अहम प्राथमिकता है.