'साहित्य के पाठक' विषय पर चर्चा का आयोजन : बुद्धिजीवियों का हुआ जुटान, साहित्य में अश्लीलता के बताए गए मायने
PATNA : पटना के गांधी मैदान में आयोजित 40वें CRD पटना पुस्तक मेले के तीसरे दिन मेले के पाटलिपुत्रा कॉलोनी मंच पर 'साहित्य के पाठक' विषय पर चर्चा का आयोजन किया गया, जिसमें भारतीय पुलिस सेवा के अधिकारी सुशील कुमार, प्रोफेसर और पत्रकार जय प्रकाश पांडे, युवा कवि और पत्रकार अंजुम शर्मा चर्चा में शामिल हुए। चर्चा की अध्यक्षता मगध महिला कॉलेज की प्रोफेसर डॉ. आशा ने की।
'साहित्य के पाठक' विषय पर चर्चा का आयोजन
भारतीय पुलिस सेवा के अधिकारी सुशील कुमार ने साहित्य में अश्लीलता पर कहा कि पाठकों को ये तय करना है कि क्या पढ़ें। साहित्य में अश्लीलता अभी नहीं बढ़ी है। पत्रकार और प्रोफेसर जय प्रकाश पाण्डेय ने साहित्य को पढ़ाने का समय निकालने के सवाल पर कहा कि हमें तालमेल की जरूरत है। बच्चों में पढ़ने की आदत डालनी होगी। पढ़ने का कोई विकल्प नहीं है। मैं रोज एक दिन में एक किताब पढ़ता हूं और किताब की जानकारी सोशल मीडिया पर देता हूं।
साहित्य में अश्लीलता के बताए गए मायने
इंटरव्यू और निजी अध्ययन के सवाल पर युवा कवि और पत्रकार अंजुम शर्मा ने कहा कि इंटरव्यू के लिए पढ़ता हूं कि उसका आलोचनात्मक अध्ययन करता हूं। पढ़ने के दौरान ध्यान देना होगा कि आप क्या पढ़ रहे हैं। निजी अध्ययन खुद को आत्मसात करने के लिए पढ़ता हूं। अश्लीलता के सवाल पर पाठक की मानसिकता पर ये तय करता है कि अश्लीलता क्या है।