Jharkhand News : झारखंड में घुसपैठ से बदली डेमोग्राफी, बढ़े मदरसे, आदिवासी लड़कियों से बांग्लादेशी कर रहे शादी, पढ़ें स्पेशल रिपोर्ट

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 Demography changed due to infiltration in Jharkhand  Demography changed due to infiltration in Jharkhand

NEWS DESK : झारखंड में विधानसभा चुनाव की रणभेरी बजने ही वाली है और इसके साथ ही अब मुद्दों की तलाश शुरू हो गई है। रोजगार, महंगाई, आदिवासियों के हित के साथ अब राज्य में घुसपैठ का मुद्दा बड़ा बनता जा रहा है। इस महीने की शुरुआत में झारखंड हाईकोर्ट ने बांग्लादेशी घुसपैठियों की पहचान कर उन्हें वापस भेजने का आदेश दिया है। एक याचिका की सुनवाई के दौरान कोर्ट का आदेश आया।

झारखंड में घुसपैठ से बदली डेमोग्राफी

हाईकोर्ट ने संथाल परगना के सभी छह जिलों के डिप्टी कमिशनर को तत्काल कार्रवाई करने का आदेश दिया था। याचिकाकर्ता ने कहा था कि घुसपैठ की वजह से ट्राइबल आबादी सबसे ज्यादा प्रभावित हुई है। पाकुड़, साहिबगंज, जामताड़ा, राजमहल, गोड्डा और दुमका में घुसपैठ हुआ है। घुसपैठिए जनजातीय समुदाय से आने वाली लड़कियों से शादी कर डेमोग्राफी को प्रभावित कर रहे हैं। इस मामले में अगली सुनवाई 18 जुलाई को होनी है। वहीं, बीजेपी इसे चुनावी मुद्दा भी बना रही है। बीजेपी की तरफ से झारखंड के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी को ज्ञापन सौंपा गया है।

अप्रत्याशित रूप से बढ़ी मुस्लिम वोटर्स की आबादी

इस मुद्दे पर बीजेपी का कहना है कि लोकसभा चुनाव के दौरान ये सामने आया कि कई बूथों पर अप्रत्याशित रूप से मुस्लिम मतदाताओं की संख्या बढ़ी है। कई बूथों पर पांच सालों में मुस्लिम मतदाताओं की संख्या 15 से 17 प्रतिशत तक बढ़ी है। बीजेपी आरोप लगा रही है तो आंकड़ों के जरिए जानते हैं कि हकीकत क्या है। 1951 के मुकाबले साल 2011 में झारखंड में आदिवासियों की आबादी 16 प्रतिशत कम हुई। ये 44 प्रतिशत से घटकर 28 प्रतिशत रह गई। पाकुड़ में 10 साल में मुस्लिम आबादी 40 प्रतिशत बढ़ी। साहिबगंज में 10 साल में मुस्लिम आबादी 37 प्रतिशत बढ़ी। इन दो जिलों में ही मुस्लिम आबादी सबसे ज्यादा बढ़ी है। बांग्लादेशी घुसपैठियों को बसाने में जमीन दलालों की बड़ी भूमिका बतायी जा रही है। गिफ्ट डीड के जरिए जमीन दलाल बांग्लादेशियों को बसा रहे हैं।

नेता प्रतिपक्ष अमर बाउरी ने इस मामले को सदन में भी उठाया था और पिछले दिनों RSS की बैठक के दौरान भी ये मुद्दा उठा था। इधर, I.N.D.I.A गठबंधन ने घुसपैठ के लिए सीधे तौर पर केंद्र सरकार और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को जिम्मेदार ठहराया है और बीजेपी पर झारखंड सरकार को बदनाम करने की साजिश का आरोप लगाया है। सवाल ये उठाया जा रहा है कि घुसपैठ बहुत पहले से हो रहा है तो जब झारखंड में रघुवर दास के नेतृत्व वाली बीजेपी की सरकार थी, तब क्या कार्रवाई हुई।

बांग्लादेशी घुसपैठियों की बढ़ी संख्या

फिलहाल झारखण्ड में सियासत जारी है लेकिन आंकड़े बताते हैं कि बांग्लादेशी घुसपैठियों की संख्या बढ़ रही है। दरअसल, बांग्लादेश बॉर्डर करीब होने की वजह से कई ऐसे प्वाइंट हैं, जहां से बंगाल होते हुए झारखंड में दाखिल हुआ जा सकता है। पाकुड़ जिला बंग्लादेश बॉर्डर से सबसे करीब पड़ता है। हाईकोर्ट के सख्त आदेश के बाद उम्मीद है कि घुसपैठ पर रोक लगेगी।